विटामिन ए की खुराक बच्चों को गंभीर बीमारियों से सुरक्षा देता है- मुख्य चिकित्सा अधिकारी
जनपद में लगभग 2.23 लाख बच्चों को पिलाई जाएगी विटामिन ए की खुराक
कानपुर देहात(अमर स्तम्भ)। जनपद में बुधवार को शहर के रोंधी नगर आंगनवाड़ी केंद्र से मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर हीरा सिंह ने बच्चों को विटामिन ए की खुराक पिला कर बाल स्वास्थ्य पोषण माह का शुभारंभ किया, कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर हीरा सिंह ने बताया कि बाल स्वास्थ्य पोषण माह के दौरान नियमित टीकाकरण सत्रों व वीएचएनडी सत्रों में 9 माह से 5 वर्ष तक के लक्षित लगभग 2.23लाख बच्चों को विटामिन-ए की खुराक पिलायी जायेगी। उन्होंने बताया कि विटामिन-ए बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। प्रदेश में 60% बच्चों में विटामिन-ए की कमी होने का खतरा रहता है। जो बच्चों में बीमारी एवं मृत्यु दर की सम्भावनाओं को बढ़ाता है। उन्होंने बताया कि वर्ष में 2 बार 6 माह के अन्तराल पर विटामिन-ए की खुराक दिये जाने से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता में बढ़ोतरी होती है तथा बच्चा स्वस्थ रहता है। यह रतौंधी रोग से बचाता है। उन्होंने बताया कि 9 माह से 12 माह तथा 16 माह से 24 माह तक के बच्चों को नियमित टीकाकरण सत्रों में खसरा के प्रथम व दूसरे टीके के साथ विटामिन-ए की आधा चम्मच घोल पिलाया जायेगा। एक वर्ष से 5 वर्ष तक के बच्चों को बाल स्वास्थ्य पोषण माह के दौरान 6 माह के अन्तराल पर एक चम्मच विटामिन-ए पिलाया जायेगा, इस अवसर पर ने कहा कि बाल स्वास्थ्य पोषण माह का यह कार्यक्रम 18 जनवरी तक चलेगा। इसके अन्तर्गत प्रत्येक बुधवार एवं शनिवार को शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में टीकाकरण स्थल पर नौ माह से पाँच वर्ष तक के बच्चों को विटामिन ए की खुराक पिलाई जाएगी, तथा टीकाकरण से छूटे बच्चों का टीकाकरण व बच्चों का वजन लिया जायेगा।
जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ महेंद्र जतारया ने बताया कि बाल स्वास्थ्य पोषण माह के अन्तर्गत लगभग करीब 2.23 लाख बच्चों को विटामिन ए की खुराक पिलाने का लक्ष्य रखा गया है, उन्होंने बताया कि इस अभियान में नियमित टीकाकरण के दौरान लक्षित बच्चों के साथ आंशिक प्रतिरक्षित बच्चों को भी प्रतिरक्षित किया जायेगा। उन्होंने इस अभियान में बाल विकास परियोजना के अधिकारियों /कर्मचारियों से सहयोग की अपेक्षा की है। डॉ जताराया ने बताया कि विटामिन ए आँखों की रोशनी के के लिये अत्यंत आवश्यक होता है। साथ ही यह संक्रामक रोगों से बचाता है। यह विटामिन शरीर में अनेक अंगों को सामान्य रूप में बनाये रखने में मदद करता है जैसे कि त्वचा, बाल, नाखून, ग्रंथि, दाँत, मसूड़ा और हड्डी। सबसे महत्वपूर्ण स्थिती जो कि सिर्फ विटामिन ए के अभाव में होती है, वह है अंधेरे में कम दिखाई देना, जिसे रतौंधि कहते हैं। विटामिन ए के स्रोत साग, गाजर, हरी सब्जियाँ, शकरकंद, मकई के दाने, अंडे, मक्खन, दूध, टमाटर, मछली, कक्कू, ब्रोकली आदि में विटामिन ए प्रचुर मात्रा में पायी जाती है। इस अवसर पर ब्लॉक अकबरपुर आंगनवाड़ी केंद्र में डिप्टी सीएमओ डॉ राजीव आईसीडीएस से मुख्य सेविका पुष्पा सचान, अरुणा देवी, एएनएम दिव्या और आंगनबाड़ी कार्यकत्री साधना सिंह, स्नेह लता, स्वास्थ्य कार्यकर्त्ता मौजूद रहे।